आसान है क्या …
आसान है क्या ?
सोचो तो सब कुछ !
सोचो तो कुछ भी नहीं !
चिंतन पर,
सबकुछ ही निर्भर,
क्या सरल, क्या है विकट !
मन:स्थिति,
लिखती है विधि,
बनाए बिगाड़े हर घड़ी ।
श्वास लेना,
आसान है क्या ?
कोशिश कर, सब कुछ होगा ।
आत्मबोध – अभिनव कुमार
आसान है क्या …
आसान है क्या ?
सोचो तो सब कुछ !
सोचो तो कुछ भी नहीं !
चिंतन पर,
सबकुछ ही निर्भर,
क्या सरल, क्या है विकट !
मन:स्थिति,
लिखती है विधि,
बनाए बिगाड़े हर घड़ी ।
श्वास लेना,
आसान है क्या ?
कोशिश कर, सब कुछ होगा ।
आत्मबोध – अभिनव कुमार
कलियुग सब खेल विधाता रचता हैस्वीकार नहीं मन करता हैबड़ों बड़ों का रक्षक कलियुगयहां…
ये जो मदहोशी सी छायी है, तेरे हुस्न का सब कसूर है। ये जो खोया खोया सा मैं रहता…
युवा का अब आगाज हो युवा का अब आगाज हो,एक नया अन्दाज़ हो,सिंह की आवाज हो,हर युवा…
कुछ किताबें उन मांओं पर लिखी जानी चाहिए,जिनके दिन चुल्हें के धुएं की धुंध बनकर…
मुझको उम्मीद… संकट की घड़ी,है आन पड़ी । है वक़्त विकट,है डर, दहशत । तू जीतेगा,गम…
कविता -मै लक्ष्मी दो आँगन की बेटी बन आई हूं मै जिस आशियाने के आँगन में ।बसेरा…
क्यों घर यूं ही लौटते हो काकाकुछ दीये हम भी ले लेंगेक्यों खामोश बैठे हो…
बहुत कठिन था वो दौर,जिसको आज हम याद करते हैं ।पन्द्रह अगस्त की उस गाथा को,हम…
मेरे पास सयाने मोदी हैं घुटनों पर तुझको ला दिया,अच्छे से तुझको झुका दिया,क्या…
दादी कहानी सुनाओ ना !! दादी मां दादी मां कहानी एक सुनाओराजा रानी घोड़ा गाड़ी की…
मैं नहाया नहीं पिछले रविवार से भिं भिना कर उड़ गई है मक्खी मेरे कान सेहूं नहाया…
मैं भस्म करूँ क्या रावण को मैं भस्म करूँ क्या रावण को !मुझमें ख़ुद ढेरों रावण…
आदमी कहीं खो गया है आभासी दुनिया में आदमीझुंठलाने लगा है अपनी वास्तविकता को…
एकांत जाने कैसे लोग रहते हैं भीड़ में,हमें तो तन्हाई पसंद आई है । अकेले बैठ के…
रीझ-रीझ कर खीझ रहा हूँ , जब से जग में होश संँभाला । प्रेम पुरातन याद नहीं…
एक मजदूर की ज़िन्दगी, कुछ शब्दों में सुनानी है। ध्यान से पढ़ना, ये एक मजदूर की…
26 नवम्बर की स्याह रात .. (शहीदों को श्रद्धांजलि, दिल से अर्पित…
हमने चार पंख्तियाँ क्या लिख दीं लोगों ने कवि बना दिया भरे बजार में हाले-दिल का…
कोरोना त्रासदी (अपनों को खोने का गम )अंधेरे में डूबा है यादों का गुलशनकहीं टूट…
कलम ✍🏻 छोटी बहुत ये दिखती है, प्रबल मग़र ये लिखती है,बड़ों बड़ों को…
दीपावली के सही मायने… दीपों का त्योहार,सजा हर घर द्वार,सत्य की असत्य पर,हुई जीत आखिरकार ।…
मेरे पास सयाने मोदी हैं घुटनों पर तुझको ला दिया,अच्छे से तुझको झुका दिया,क्या समझता था तू…
ये १०० प्रतिशत,है बात सच,कि ज़िंदगी किसी की आसान नहीं । मुश्किलें सभी पर आती हैं,कहीं…
अभी थोङा-थोङा बिखर रहा हूँ मैंअभी थोङा-थोङा निखर रहा हूँ मैदिले-दवा का जि़क्र कर रहा हूँ…
उसको भी पता है कि ग़लत वही है,लेकिन अटकी मुझपर ही सुई है,कोई तो बतादे निष्पक्षता से,क्या…
मनुष्य को फूलों के विकास पर ध्यान देना चाहिए फल तो अपने आप लग जाएंगे| अज़य कीर्ति तुम…
उत्तम कितने भी हों विचार,सार्थक तभी जब दिखे प्रभाव,झलक दिखे गर आचरण में तो,कथनी से करनी का…
कभी आना .... कभी आना तो मेरे लिए वो शाम लाना, कभी आना तो दो वक्त की बातें तमाम लाना! कभी…
दुनिया का सबसे अमीर आदमी झोपङी मे रहता हैं,महल में तो गरीब रहते हैं अज़य कीर्ति मैं समझने…
मैं एक हिन्दू हूं पहले मैं किन्तु परंतु था,अब मगर केंद्र बिंदु हूं,गर्व से कहता हूं कि,मैं…
देखो शेर आ गया….. सौगंध अपनी पूरी करने,देखो शेर आ गया ।राम जी को अवध लेके,अपना शेर आ गया ।…
अग़र मै और तुम एक हो जाएं, जग की सारी खुशी मुझे मिल जाए | होंगे एक तो लहरें गाएंगी,हवा…
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